एवरेस्ट: मेरी शिखर यात्रा Page [2] 9th Class (CBSE) Hindi
प्रश्न: लेखिका को देखकर ‘की’ हक्का-बक्का क्यों रह गया?
उत्तर: लेखिका को देखकर ‘की’ हक्का-बक्का रह गया क्योंकि इतनी बर्फ़ीली हवा में नीचे उतरना जोखिम भरा था फिर भी लेखिका सबके लिए चाय व जूस लेने नीचे उतर रही थी और उसे ‘की‘ से भी मिलना था।
प्रश्न: एवरेस्ट पर चढ़ने के लिए कुल कितने कैंप बनाए गए? उनका वर्णन कीजिए।
उत्तर: एवरेस्ट पर चढ़ने के लिए कुल 6 कैंप बनाए गए थे।
- बेस कैंप: यह मुख्य कैंप था।
- कैंप-1: यह कैंप 6000 मीटर की ऊँचाई पर बनाया गया। यह हिमपात के ठीक ऊपर था। इसमें सामान जमा था।
- कैंप-2: यह चढ़ाई के रास्ते में था।
- कैंप-3: इसे ल्होत्से की बर्फ़ीली सीधी ढ़लान पर लगाया गया था। यह रंगीन नायलॉन से बना था। यहीं ल्होत्से ग्लेशियर से टूटकर बर्फ़ पिंड कैंप पर आ गिरा था।
- कैंप-4: यह समुद्र तट से 7900 मीटर की ऊँचाई पर था। साउथ कोल स्थान पर लगने के कारण साउथ कोल कैंप कहलाया।
- शिखर कैंप: यह अंतिम कैंप था। यह एवरेस्ट के ठीक नीचे स्थित था।
प्रश्न: चढ़ाई के समय एवरेस्ट की चोटी की स्थिति कैसी थी?
उत्तर: जब लेखिका एवरेस्ट की चोटी पर पहुँची तब वहाँ तेज़ हवा के कारण बर्फ़ उड़ रही थी। एवरेस्ट की चोटी शंकु के आकार की थी। वहाँ इतनी भी जगह नहीं थी कि दो व्यक्ति एक साथ खड़े हो सकें। चारों ओर हज़ारों मीटर लंबी सीधी ढलान थी। लेखिका के सामने सुरक्षा का प्रश्न था। वहाँ फावड़े से बर्फ़ की खुदाई की गई ताकि स्वयं को सुरक्षित कर स्थिर किया जा सके।
प्रश्न: सम्मिलित अभियान में सहयोग एवं सहायता की भावना का परिचय बचेंद्री के किस कार्य से मिलता है।
उत्तर: जब बचेंद्री दल के सदस्यों के साथ साउथकोल कैंप पहुँची तो केवल वह अपने लिए नहीं सोच रही थी बल्कि अपने दल के प्रत्येक सदस्य के लिए सोच रही थी। लेखिका ने अपने साथियों के लिए जूस और चाय लेने के लिए तेज़ बर्फ़ीली हवा में भी नीचे उतरकर जोखिम भरा काम किया। इस व्यवहार से कार्य में उसके सहयोग और सहायता की भावना का परिचय मिलता है।
प्रश्न: इस पाठ में प्रयुक्त निम्नलिखित शब्दों की व्याख्या पाठ का संदर्भ देकर कीजिए: निहारा है, धसकना, खिसकना, सागरमाथा, जायज़ा लेना, नौसिखिया
उत्तर:
- निहारा है: यह पाठ एवरेस्ट की चोटी को बचेंद्री पाल ने निहारा है।
- धसकना: खिसकना − ये दोनों शब्द हिम–खंडो के गिरने के संदर्भ में आए हैं।
- सागरमाथा: नेपाली एवरेस्ट चोटी को सागरमाथा कहते हैं।
- जायज़ा लेना: यह शब्द प्रेमचंद ने कैंप के परीक्षण निरीक्षण कर स्थिति के बारे में प्रयुक्त हुआ है।
- नौसिखिया: बचेंद्री पाल ने तेनजिंग को अपना परिचय देते हुए यह शब्द प्रयुक्त किया है।
प्रश्न: निम्नलिखित पंक्तियों में उचित विराम चिह्नों का प्रयोग कीजिए:
- उन्होंने कहा तुम एक पक्की पर्वतीय लड़की लगती हो तुम्हें तो शिखर पर पहले ही प्रयास में पहुँच जाना चाहिए
- क्या तुम भयभीत थीं
- तुमने इतनी बड़ी जोखिम क्यों ली बचेंद्री
उत्तर:
- उन्होंने कहा “तुम एक पक्की पर्वतीय लड़की लगती हो तुम्हें तो शिखर पर पहले ही प्रयास में पहुँच जाना चाहिए”।
- क्या तुम भयभीत थीं?
- तुमने इतनी बड़ी जोखिम क्यों ली, बचेंद्री?
प्रश्न: नीचे दिए उदाहरण के अनुसार निम्नलिखित शब्द-युग्मों का वाक्य में प्रयोग कीजिए: उदाहरण: हमारे पास एक वॉकी-टॉकी था।
- टेढ़ी-मेढ़ी
- गहरे-चौड़े
- आस-पास
- हक्का-बक्का
- इधर-उधर
- लंबे-चौड़े
उत्तर:
- टेढ़ी-मेढ़ी: यह पगडंडी बहुत टेढ़ी-मेढ़ी है।
- गहरे-चौड़े: वहाँ गहरे-चौड़े गड्ढे थे।
- आस-पास: गाँव के आस-पास खेत हैं।
- हक्का-बक्का: उसको वहाँ देखकर मैं हक्का-बक्का रह गया।
- इधर-उधर: इधर-उधर की बातें करना बंद करो।
- लंबे-चौड़े: यहाँ बहुत लंबे-चौड़े मैदान हैं।
प्रश्न: निम्नलिखित का आशय स्पष्ट कीजिए: एवरेस्ट जैसे महान अभियान में खतरों को और कभी-कभी तो मृत्यु भी आदमी को सहज भाव से स्वीकार करनी चाहिए।
उत्तर: यह कथन अभियान दल के नेता कर्नल खुल्लर का है। उन्होंने शेरपा कुली की मृत्यु के समाचार के बाद कहा था। उन्होंने सदस्यों के उत्साहवर्धन करते हुए अभियान के दौरान होने वाली दुर्घटनाओं को वास्तविकता से परिचित करना चाहा। एवरेस्ट की चढ़ाई कोई आसान काम नहीं है, यह जोखिम भरा अभियान होता है। यहाँ इतने खतरे हैं कि कभी–कभी मृत्यु भी हो सकती है। इसके लिए तैयार रहना चाहिए विचलित नहीं होना चाहिए।
प्रश्न: सीधे धरातल पर दरार पड़ने का विचार और इस दरार का गहरे-चौड़े हिम-विदर में बदल जाने का मात्र खयाल ही बहुत डरावना था। इससे भी ज़्यादा भयानक इस बात की जानकारी थी कि हमारे संपूर्ण प्रयास के दौरान हिमपात लगभग एक दर्जन आरोहियों और कुलियों को प्रतिदिन छूता रहेगा।
उत्तर: इस कथन का आशय है कि हिमपात के कारण बर्फ़ के खंडो के दबाव से कई बार धरती के धरातल पर दरार पड़ जाती है। यह दरार गहरी और चौड़ी होती चली जाती है और हिम-विदर में बदल जाती है यह बहुत खतरनाक होते हैं और भी ज़्यादा खतरनाक बात तब होती है जब पता रहे कि पूरे प्रयासों के बाद यह भयंकर हिमपात पर्वतारोहियों व कुलियों को परेशान करता है।
प्रश्न: बिना उठे ही मैंने अपने थैले से दुर्गा माँ का चित्र और हनुमान चालीसा निकाला। मैंने इनको अपने साथ लाए लाल कपड़े में लपेटा, छोटी-सी पूजा-अर्चना की और इनको बर्फ़ में दबा दिया। आनंद के इस क्षण में मुझे अपने माता-पिता का ध्यान आया।
उत्तर: लेखिका जब एवरेस्ट की चोटी पर पहुँचकर घुटनों के बल बैठ कर बर्फ़ पर अपना माथा लगाया और चुंबन किया। उसके बाद एक लाल कपड़े में माँ दुर्गा का चित्र और हनुमान चालीसा को लपेटा और छोटी से पूजा करके बर्फ़ में दबा दिया वह बहुत खुश थी और उसे अपने माता–पिता का स्मरण हो आया।
प्रश्न: उदाहरण के अनुसार विलोम शब्द बनाइए: उदाहरण: अनुकूल – प्रतिकूल
- नियमित − ……………….
- आरोही − ……………….
- सुंदर − ……………….
- विख्यात − ……………….
- निश्चित − ……………….
उत्तर:
- नियमित − अनियमित
- आरोही − अवरोही
- सुंदर − असुंदर
- विख्यात − अविख्यात
- निश्चित − अनिश्चित
प्रश्न: निम्नलिखित शब्दों में उपयुक्त उपसर्ग लगाइए: जैसे: पुत्र – सुपुत्र
वास, व्यवस्थित, कूल, गति, रोहण, रक्षित
उत्तर:
- वास − प्रवास
- व्यवस्थित − अव्यव, स्थित
- कूल − प्रतिकूल
- गति − प्रगति
- रोहण − आरोहण
- रक्षित − आरक्षित
प्रश्न: निम्नलिखित क्रिया विशेषणों का उचित प्रयोग करते हुए रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए:
अगले दिन, कम समय में, कुछ देर बाद, सुबह तक
- मैं ………….. यह कार्य कर लूँगा।
- बादल घिरने के ………….. ही वर्षा हो गई।
- उसने बहुत …………… इतनी तरक्की कर ली।
- नाङकेसा को ………….. गाँव जाना था।
उत्तर:
- मैं अगले दिन यह कार्य कर लूँगा।
- बादल घिरने के कुछ देर बाद ही वर्षा हो गई।
- उसने बहुत कम समय में इतनी तरक्की कर ली।
- नाङकेसा को सुबह तक गाँव जाना था।